खादी और ग्रामोद्योग की रंग लाई मुहिम, ऑनलाइन बिके मिट्टी के हजारों दीये
Source : business.khaskhabar.com | Nov 06, 2020 |
नई दिल्ली। खादी और ग्रामोद्योग आयोग की एक खास पहल ने कुम्हारों के चेहरे
पर खुशियां बिखेर दी हैं। दिवाली में केवीआईसी ने मिट्टी के दीयों की
ऑनलाइन बिक्री शुरू की है। राजस्थान के जैसलमेर और हनुमानगढ़ जिलों के
सुदूर हिस्सों में इन कुम्हारों की ओर से बनाए गए मिट्टी के दीये खादी
इंडिया के ई-पोर्टल की बदौलत देश के हर कोने तक पहुंच रहे हैं। दरअसल, खादी
और ग्रामोद्योग आयोग (केवीआईसी) ने इस वर्ष प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के
'वोकल फॉर लोकल' मुहिम को सार्थक बनाने के लिए ऑनलाइन और स्टोर के माध्यम
से दीया बेचने का फैसला किया। केवीआईसी ने सबसे पहले आठ अक्टूबर को दीये की
ऑनलाइन बिक्री शुरू की। महीने से भी कम वक्त में करीब दस हजार दीये पहले
ही ऑनलाइन बिक चुके हैं। केवीआईसी ने10 दिनों से भी कम समय में डिजाइनर
दीयों को पूरी तरह से बेच दिया था।
दिवाली के निकट आने के साथ ही
दीयों की बिक्री भी बढ़ रही है। केवीआईसी ने 8 प्रकार के डिजाइनर दीये
लॉन्च किए हैं, जिनकी कीमत 84 रुपये से लेकर 12 के सेट के लिए 108 रुपये
है। केवीआईसी इन दीयों पर 10 प्रतिशत की छूट भी दे रहा है। केवीआईसी से
जुड़े कुम्हारों ने खुशी व्यक्त की है कि वे हर दीये की बिक्री पर 2 रुपये
से 3 रुपये कमा रहे हैं। खादी के डिजाइनर दीये खादी की वेबसाइट पर भी
उपलब्ध है।
केवीआईसी दिल्ली और अन्य शहरों में अपने आउटलेट के
माध्यम से दीया और अन्य मिट्टी की वस्तुओं जैसे लक्ष्मी-गणेश की मूर्तियों
और अन्य सजावट के सामान भी बेच रहा है। ये मूर्तियां वाराणसी, राजस्थान,
हरियाणा और अन्य राज्यों में कुम्हारों द्वारा बनाई जा रही हैं और
कुम्हारों के लिए अच्छी आय का जरिया बन रही हैं।
दूसरी ओर, राजस्थान
में हनुमानगढ़ जिले के जैसलमेर और रावतसर में पोखरण में केवीआईसी इकाइयों
से खरीदे जा रहे हैं। विभिन्न खादी आउटलेट्स के माध्यम से 10,000 से अधिक
दीये भी बेचे गए हैं। केवीआईसी के अध्यक्ष विनय कुमार सक्सेना ने कहा कि
मिट्टी की वस्तुओं की ऑनलाइन बिक्री वास्तविक अर्थों में केवीआईसी से जुड़े
कुम्हारों का सशक्तिकरण है। (आईएएनएस)
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