ट्रांजिशनल क्रेडिट राशि बहुत ज्यादा नहीं : वित्त मंत्रालय
Source : business.khaskhabar.com | Sep 23, 2017 |
नई दिल्ली। वित्त मंत्रालय ने कहा कि ट्रांजिशनल क्रेडिट के रूप में 65,000 करोड़ रुपये की राशि अविश्वसनीय रूप से बहुत अधिक नहीं है और इससे सरकार की आय में गिरावट नहीं आई है।
सरकार ने शुक्रवार को यह स्पष्टीकरण इस खुलासे के बाद दिया है कि व्यापारियों ने ट्रांजिशनल क्रेडिट के रूप में 65,000 करोड़ रुपये जमा कराए हैं, जिससे जीएसटी के अंतर्गत वार्षिक आय में कमी आ सकती है। सरकार ने जीएसटी के अंतर्गत जुलाई में 95,000 करोड़ रुपये प्राप्त किए थे।
मंत्रालय ने एक बयान में बताया, ‘‘65,000 करोड़ रुपये क्रेडिट के रूप में जमा होने पर मीडिया में यह अनुमान लगाया जा रहा है कि यह राशि जीएसटी पूर्व अवधि के दौरान करदाताओं द्वारा केंद्रीय उत्पाद और शुल्क सेवा के रूप में जमा करवाई गई है। कुछ लोग अनुमान लगा रहे हैं कि ट्रांजिशन क्रेडिट के रूप में 65,000 करोड़ रुपये जमा होने से इस महीने सरकार की आय घट जाएगी। यह स्पष्ट किया जाता है कि यह सच्चाई से बहुत दूर है।
बयान के मुताबिक, ‘‘करदाताओं ने ट्रांस 1 फार्म में 65,000 करोड़ रुपये का बकाया क्रेडिट के रूप में दावा किया है। इसका मतलब यह नहीं है कि उनलोगों ने जुलाई माह में आउटपुट टैक्स देनदारी के रूप में इस पूरे क्रेडिट का उपयोग कर लिया है।’’
मंत्रालय ने बताया, ‘‘जुलाई माह में सरकार ने जीएसटी के अंतर्गत 95,000 करोड़ रुपये की राशि एकत्र की है, जो क्रेडिट के लाभ लेने के अलावा वास्तव में नकद भुगतान की गई राशि है। ट्रांजिशनल क्रेडिट राशि अविश्वसनीय रूप से बहुत अधिक नहीं है, क्योंकि विभाग के रिकॉर्ड के अनुसार, 30 जून 2017 को केंद्रीय उत्पाद शुल्क और सेवा कर के रूप में 1.27 लाख करोड़ रुपये शेष राशि के रूप में उपलब्ध थे।’’
मंत्रालय के अनुसार, ‘‘इसमें से कुछ के्रडिट जीएसटी शासन के अंतर्गत मान्य नहीं हैं।’’ उदाहरण के लिए सीजीएसटी अधिनियम की धारा 17 (5) के तहत क्रेडिट या जीएसटी की परिभाषा में शामिल नहीं किए गए क्रेडिट मान्य नहीं हैं। इसके अलावा ट्रान्स-1 फार्म में दावा किए गए कुछ क्रेडिट भी मान्य नहीं हैं, जो न्यायालय के विचाराधीन हैं, इसलिए करदाताओं के लिए अपने खातों में जोडऩा या उपयोग करना संभव नहीं है।
मंत्रालय के अनुसार, इसी परिपे्रक्ष्य से केंद्रीय उत्पाद एवं सीमा शुल्क बोर्ड (सीबीईसी) कुछ मामलों में ट्रान्स-1 फार्म में करदाताओं द्वारा दावा किए गए ट्रांजिशन क्रेडिटों की जांच-पड़ताल कर रहा है।
यह संभव है कि कुछ करदाताओं ने मान्य क्रेडिट से संबंधित ट्रान्स-1 फार्म को दाखिल करने में गलती की होगी। इसलिए जीएसटी परिषद द्वारा ट्रान्स-1 फार्म में संशोधन की सुविधा देने का निर्णय लिया गया है। यह सुविधा अक्टूबर 2017 तक उपलब्ध रहेगी, ताकि वे स्वयं भी अपनी गलती को दूर कर सकें।
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