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दूसरी, तीसरी तिमाही में बढ़ेगी जीडीपी की रफ्तार : फिक्की सर्वेक्षण

Source : business.khaskhabar.com | Nov 28, 2017 | businesskhaskhabar.com Business News Rss Feeds
 gdp growth to rise in q2 q3 ficci survey 275041नई दिल्ली। सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की दूसरी तिमाही के आधिकारिक आंकड़े जारी होने से पहले, उद्योग मंडल फिक्की ने सोमवार को कहा कि जुलाई-सितंबर तिमाही में जीडीपी की वृद्धि दर सुधार के साथ 6.2 फीसदी पर रहेगी और आगे चालू वित्त वर्ष की तीसरी तिमाही के दौरान इसमें और सुधार होगा और यह 6.7 फीसदी पर रहेगी।

चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही के दौरान विनिर्माण क्षेत्र में मंदी के कारण जीडीपी की दर गिरकर 5.7 फीसदी पर आ गई थी, जो नरेंद्र मोदी सरकार के अंतर्गत जीडीपी की सबसे कम वृद्धि दर है। इससे पहले साल 2014 में जनवरी-मार्च के दौरान यह गिरकर 4.6 फीसदी पर आ गई थी।

फिक्की ने अर्थशास्त्रियों के सहयोग से तैयार किए गए अपने आर्थिक आउटुलक सर्वेक्षण के हवाले से कहा, ‘‘जीएसटी से संबंधित अनुपालन भार को कम करने तथा कार्यान्वयन को आसान बनाने के लिए सरकार द्वारा उठाए कदमों, बैंकों के पुनर्पूंजीकरण की योजना और अवसंरचना क्षेत्र पर जोर को सर्वेक्षण में शामिल भागीदारों द्वारा स्वीकार किया गया है, जो सरकार द्वारा विकास को रोकने वाले प्रमुख मुद्दों को हल करने के संकल्प को दिखाता है।’’

फिक्की ने कहा, ‘‘आर्थिक सर्वेक्षण में कहा गया है कि उच्च ब्याज दरों की भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) द्वारा निश्चित रूप से समीक्षा की जानी चाहिए, क्योंकि यह विकास दर और रुपये के मूल्य को प्रभावित कर रही है।’’

उन्होंने अनुमान लगाया कि चालू वित्त वर्ष में बजटीय वित्तीय घाटा थोड़ा बढक़र 3.3 फीसदी के आसपास रहेगा। सरकार ने इसे 3.2 फीसदी पर रखने का लक्ष्य निर्धारित किया है।

सर्वेक्षण में बताया गया कि चालू वित्त वर्ष में थोक मुद्रास्फीति 2.8 फीसदी के आसपास रहने की संभावना है और उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (सीपीआई) या खुदरा महंगाई थोड़ा बढक़र 3.4 फीसदी के आसपास होने की संभावना है।

फिक्की के मुताबिक, देश में महंगाई बढऩे का मुख्य कारण आपूर्ति में कमी है। कुछ अर्थशास्त्रियों ने कहा कि आरबीआई द्वारा महंगाई को काबू में रखने का जो लक्ष्य निर्धारित किया गया है, वह सही दृष्टिकोण नहीं हो सकता है।

उद्योग मंडल ने कहा, ‘‘सरकार को उपभोग और पूंजीगत व्यय को बढ़ाने पर अपना ध्यान जारी रखने की जरूत है।’’ (आईएएनएस)

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